देहरादून: रुद्रप्रयाग के उत्तराखंड क्रांतिदल के प्रत्याशी मोहित डिमरी पर चुनाव के दौरान हुए हमले को पुलिस ने झूठा करार दिया है। मामले की विवेचना पूरी करते हुए भारतीय दंड संहिता की धारा 182 में अग्रिम कार्रवाई की जाएगी। पुलिस का कहना है कि चुनाव में लाभ लेने के लिए प्रत्याशी द्वारा स्वयं प्रपंच रचा गया था| वहीं डिमरी ने पूरे घटनाक्रम की सीबीआई जांच कराने की मांग करते हुए पुलिस पर सत्तापक्ष के दबाव में जांच करने का आरोप लगाया है।
पुलिस अधीक्षक आयुष अग्रवाल ने बताया कि 12 फरवरी की रात्रि को जवाड़ी बाईपास पर घटना के बाद जब पुलिस मौके पर पहुंची तो पीड़ित व उसके साथी नहीं मिले। बल्कि पीड़ित द्वारा निजी चिकित्सालय में अपना उपचार कराया जा रहा था।मेडिकल कराने के बाद कोतवाली रुद्रप्रयाग में मुकदमा दर्ज किया गया।
पुलिस अधीक्षक ने बताया कि मामले की विवेचना में यह बात स्पष्ट तौर पर सामने आई है कि यूकेडी प्रत्याशी द्वारा अपने ऊपर हुए हमले की सूचना पूरी तरह से भ्रामक है। सीसीटीवी फुटेज और कॉल डिटेल्स सहित लोगों के बयानों में भी हमले की पुष्टि नहीं हो पाई है। उनके साथ किसी भी प्रकार की हमले की कोई घटना नहीं हुई है। प्रत्याशी द्वारा चुनाव में फायदा लेने व सहानुभूति प्राप्त करने के इरादे से यह कृत्य किया गया है।
एसपी ने जानकारी दी कि आईपीसी की धारा 182 के तहत मामला दर्ज कर कार्रवाई की रिपोर्ट कोर्ट को भेजी जा रही है। वहीं , यूकेडी प्रत्याशी का कहना है कि बिना उनके बयान लिए विवेचना पूरी कर दी गई है, जो अनुचित है। उन्होंने पुलिस पर सत्तापक्ष के दबाव में जांच करने का आरोप लगाया है। व सीबीआई से मामले की जांच करने की मांग करते हुए राष्ट्रपति को भी मामले में पत्र भेजने की बात कही है|