देहरादून: बिहार में एक बार फिर नक्सलियों का आतंक देखने को मिला है। राज्य के गया जिले के एक गांव में नक्सलियों ने एक ही परिवार के चार लोगों की हत्या कर दी है। जानकारी के अनुसार माओवादियों ने रविवार को डुमरिया के मोनबार गांव में कंगारू कोर्ट का संचालन कर दो पुरुषों और दो महिलाओं को फांसी पर लटका दिया। इसके बाद उन्होंने मृतकों के घर को बम से उड़ा दिया। यह घर सरजू भोक्ता का था।
गौरतलब है कि माओवादियों ने सरजू भोक्ता के बेटे सत्येंद्र सिंह भोक्ता और महेंद्र सिंह भोक्ता समेत उनकी पत्नियों को घर के बाहर बांधकर फांसी पर लटका दिया। इस दौरान उनके आंखों पर पट्टी बांध दी गई थी। लोगों में डर पैदा करने के लिए माओवादियों ने उनके घर पर एक नोट भी चिपका दिया। इसमें भोक्ता और उनके परिवार पर पुलिस के लिये मुखबिरी करने का आरोप लगाया है।
दरअसल भाकपा (माओवादी) का दावा है कि इस परिवार की मुखबिरी के चलते इस साल मार्च में स्थानीय पुलिस और कोबरा बटालियन ने चार नक्सलियों को मुठभेड़ में मार गिराया था। जिसका बदला लेने के लिए माओवादियों ने सरजू भोक्ता के परिवार को निशाना बनाया।वहीं माओवादियों द्वारा मृतक के घर पर चिपकाए गए नोट में कहा गया कि चार माओवादी जिसमें अमरेश कुमार, सीता कुमार, शिवपूजन कुमार और उदय कुमार को बीते दिनों जहर देकर मार दिया गया था और जिसमें इस परिवार पर संलिप्तता का आरोप था। नोट में “देशद्रोहियों” को कड़ी सजा देने की भी चेतावनी दी गई है।
इस मामले पर एडीजी ने कहा, कि ‘‘गया के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक आदित्य कुमार घटनास्थल पर अपना डेरा डाले हुए हैं। जल्दी ही अपराधियों को पकड़ लिया जाएगा। तलाशी अभियान चलाए जा रहे हैं।” उन्होंने कहा कि झारखंड की सीमा से लगे अन्य जिलों के पुलिस प्रमुखों से भी नक्सलियों की गतिविधि को देखते हुए तलाशी अभियान चलाने के आदेश दे दिए गए हैं।