चमोली:
देवाल विकासखंड के ऐरठा गांव में प्रशासनिक लापरवाही की तस्वीर एक बार फिर सामने आई है। गांव के लिए वर्ष 2021 में स्वीकृत आठ किलोमीटर लंबी सड़क अब तक कागजों में ही सिमटी हुई है, जिसका खामियाजा ग्रामीणों को अपनी जान जोखिम में डालकर भुगतना पड़ रहा है।
शुक्रवार को गांव निवासी पूरन राम की तबीयत गंभीर होने पर परिजन किसी वाहन की व्यवस्था नहीं कर सके। सड़क न होने के कारण ग्रामीणों ने उन्हें डंडी में बैठाया और करीब पांच किलोमीटर पैदल चलकर अस्पताल पहुंचाया।
पीएचसी में प्राथमिक उपचार के बाद मरीज को हायर सेंटर रेफर कर दिया गया, जिससे परिजनों की परेशानी और बढ़ गई। ग्रामीणों ने जल्द सड़क निर्माण शुरू न होने पर आंदोलन की चेतावनी दी है।