अयोध्या में राम मंदिर ध्वजारोहण सम्पन्न, पीएम मोदी, मोहन भागवत और सीएम योगी ने व्यक्त की भावनाएं
अयोध्या के श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में मंगलवार को ध्वजारोहण का भव्य और ऐतिहासिक समारोह आयोजित किया गया। इस कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शामिल हुए। हजारों श्रद्धालु और साधु-संत इस पवित्र क्षण के साक्षी बने।
पीएम मोदी: “बहुत पुराना सपना पूरा हुआ, सदियों के घाव भरने लगे”
ध्वजारोहण के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि आज का दिन भारत के सांस्कृतिक इतिहास में अमिट छाप छोड़ने वाला है।
उन्होंने कहा—
- “हमारा बहुत पुराना सपना आज पूरा हुआ है। सदियों से जो घाव थे, वे अब भरने लगे हैं।”
- “हम ऐसा समाज बनाने का संकल्प लें जहां कोई गरीब, पीड़ित या वंचित न हो। राम का मार्ग करुणा और न्याय का मार्ग है।”
पीएम मोदी ने मंदिर निर्माण से जुड़े प्रत्येक श्रमिक, दानवीर, कारीगर, योजनाकार और वास्तुकार के योगदान को नमन किया। उन्होंने कहा कि रामकथा के प्रतीक—सप्त मंदिर, निषाद राज मंदिर, जटायु और गिलहरी की मूर्तियाँ—यह दर्शाती हैं कि छोटे-छोटे प्रयास भी बड़े संकल्पों को पूरा करने में महत्वपूर्ण होते हैं।
मोहन भागवत: “जिन्होंने बलिदान दिया, आज उनकी आत्माएं तृप्त होंगी”
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने इस दिन को ऐतिहासिक और भावनात्मक बताते हुए कहा—
- “आज वह क्षण है जब मंदिर आंदोलन में प्राण न्योछावर करने वालों की आत्माएं तृप्त हुई होंगी।”
- “राम राज्य का ध्वज, जो कभी अयोध्या की पहचान था, आज फिर उसी गरिमा के साथ लहरा रहा है।”
उन्होंने भगवा ध्वज पर अंकित रघुकुल प्रतीक ‘कोविदार वृक्ष’ को त्याग, सेवा और लोककल्याण की भावना का प्रतीक बताया।
सीएम योगी: “500 साल बाद संकल्प साकार, आस्था कभी नहीं झुकी”
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने संबोधन में कहा कि मंदिर के शिखर पर फहराता केसरिया ध्वज नए भारत की पहचान है।
उन्होंने कहा—
- “500 वर्षों में समय बदला, नेतृत्व बदला, पर आस्था न झुकी, न रुकी। आज वह संकल्प साकार हुआ है, जो सदियों से प्रतीक्षित था।”
- “आरएसएस के नेतृत्व में ‘रामलला हम आएंगे, मंदिर वहीं बनाएंगे’ का नारा जन-जन की आवाज बना और आज उसी का परिणाम सामने है।”
योगी ने इसे भारतीय संस्कृति और सनातन परंपरा के पुनर्जागरण का उत्सव बताया।
अयोध्या में भक्ति और उल्लास का माहौल
ध्वजारोहण के दौरान मंदिर परिसर में भारी भीड़ उमड़ी। हर दिशा ‘जय श्रीराम’ के जयकारों से गूंज उठी। श्रद्धालुओं ने इसे अपने जीवन का सबसे पवित्र क्षण बताया।